• defamatory libel | |
झूठा: fictionmonger charlatan lying liar deceitful | |
परिवाद: complaint libel reproach grievance | |
झूठा परिवाद अंग्रेज़ी में
[ jhutha parivad ]
झूठा परिवाद उदाहरण वाक्य
उदाहरण वाक्य
अधिक: आगे- उसके विरुद्ध झूठा परिवाद दायर किया गया।
- सरकार को चुना लगाने पर मिले आरोप पत्र से बचने के लिये एक बाबू ने किया झूठा परिवाद
- पक्षकारों के मध्य दीवानी वाद लम्बित है, अनावश्यक दबाव बनाने के लिये झूठा परिवाद दाखिल किया गया है।
- शर्मा ने इस चार्जशीट से बचने के लिये अपने ही विभाग के आला अफसर के विरूद्ध मनगढ़त झूठा परिवाद पेश किया है।
- जो लोग विरोधी पक्षके समर्थक थे, उनसे प्रतिशोध लेने हेतु कुछ सत्ताधारी दलके नेता उनके विरुद्ध झूठा परिवाद प्रविष्ट किया गया था ; इसलिए उन्हें भारत छोडनेकी सूचना दी गई थी ।
- दो रोज पूर्व डूयटी ज्वोईन करने वाले आईएएस पर किया झूठा परिवाद पुलिस की निष्पक्ष, निर्भिक जांच में हुआ खुलासा सूचना के अधिकार 2005 ने किया एक बाबू के मनगढ़त, झूठे परिवाद का खुलासा उदयपुर।
- मधेपुरा टाइम्स ने जब इस सम्बन्ध में एसडीपीओ विजय कुमार से संपर्क किया तो उन्होंने बताया कि उक्त महिला ने अपने पति पर मुकदमा किया था जिसको जांच के बाद उन्होंने गलत पाया था. उसी आक्रोश में महिला ने ये निहायत झूठा परिवाद पत्र दाखिल किया है.
- निगरानीकर्तागण के विद्वान अधिवक्ता ने दौरान बहस यह भी तर्क दिया कि अर्चित शर्मा के सरस्वती ज्ञान मंदिर में पढ़ने के संबंध में प्रमाणपत्र व सिविल जज (जू0डि0) शाहजहांपुर के न्यायालय में योजित वाद की प्रतियां न्यायालय में दाखिल की हैं, जिससे यह स्पष्ट है कि उत्तरदाता/परिवादिनी द्वारा झूठा परिवाद बनाकर निगरानीकर्तागण को झूंठा फंसाया गया है।
- डाक एवं तार विभाग, उदयपुर में दो रोज पूर्व ही नौकरी ज्वोईन करने वाले अपने ही विभाग के आला अफसर द्वारा सरकारी खजाने में लगातार राजस्व को चुना लगाने वाले तथा उसकी अनियमितताएं पकडने के एक सनसेनीखेज मामले में आला अफसर द्वारा दिये गये आरोप पत्र से बचने के लिये डाक एवं पोस्ट विभाग, उदयपुर के एक बाबू (पोस्टल अस्टिेण्ट) ने उनके विरूद्ध ही झूठा परिवाद दर्ज करवा कर उन्हें परेशान करने में कोई कसर नही छोडी।
- अभियुक्तगण ने उक्त सभी आरोपो से इन्कार किया है और अपने बयान धारा 313 द0प्र0सं0 मे उन्होने वादी पक्ष को अनुसूचित जाति एवं अनुसूचित जनजाति का सदस्य होने पर अनविज्ञता जाहिर की है और यह कथन किया है कि वादनी द्वारा अभियुक्त पक्ष से जमीन की रंजिष की वजह से इस मामले मे झूठा परिवाद प्रस्तुत किया है तथा सभी गवाह एक ही परिवार के है और भूमि की रंजिष के कारण दिनॉक 27. 12.2000 तथा दिनॉक 8.3.2001की घटना से पूर्ण रूप से इंकार किया गया है।